नैनीताल । तल्लीताल स्थित हैरिटेज पोस्ट ऑफिस को सड़क चौड़ीकरण के नाम पर ध्वस्त करने के विरोध में शुक्रवार को कई जन संगठनों ने जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया है । यह ज्ञापन अपर जिलाधिकारी शिवचरण द्विवेदी ने प्राप्त किया । ज्ञापन में 200 से अधिक लोगों ने हस्ताक्षर किए हैं ।
ज्ञापन में कहा गया है कि तल्लीताल चौराहे पर स्थित पोस्ट ऑफिस जो कि 1883 में बना है,ऐतिहासिक हैरिटेज भवन है । जिसे पर्यटक वाहनों के सुचारू आवागमन व जाम से निजात पाने के मकसद से ध्वस्त किये जाने की चर्चाएं हैं जो कि संवेदनशील नैनीताल वासियों के लिये हतप्रभ करने वाली खबर है । क्योंकि डाकघर की यह इमारत यहां के लोगों की भावनाओं और स्मृतियों से जुड़ी है।
जिस समय संचार का एकमात्र साधन डाक सेवा होती थी तबसे इस स्थान से इस शहर की यादें जुड़ी हैं। 1883 में अस्तित्व में आया यह भवन एक विरासत (Heritage) तो है ही, साथ ही यह अपनी आसान पहुंच के कारण पोस्ट ऑफिस द्वारा दी जाने वाली विभिन्न सेवाओं के उपयोग को सुगम बनाए हुए है। इसे हटाने से दिन प्रतिदिन भीषण रूप से बढ़ रहा वाहनों का दबाव कम होगा । यह तो संदिग्ध है लेकिन एक विरासती भवन को हटाने से जो क्षति होगी उसकी कल्पना नहीं की जा सकती।
कहा है कि आज पूरी दुनिया में अपनी विरासत को बचाने उसे अक्षुण्ण रखने की मुहिम चल रही है और अतीत से जुड़े प्रतीकों को सुरक्षा प्रदान की जा रही है। उनसे छेड़छाड़ न हो । ऐसे इंतजामात किए जा रहे हैं। ऐसे में इस विरासत को ध्वस्त करना एक घातक विचार है। जरूरत है, इस इमारत को प्राचीन स्वरूप में सुरक्षित रखने की, ताकि यह अपना अस्तित्व बनाए रखे और शहर को भी एक पहचान प्रदान करे। कोई भी हिल स्टेशन अपनी चमक धमक या चकाचौंध के लिए नहीं, बल्कि अपने प्राकृतिक परिवेश, ऐतिहासिक इमारतों और समृद्ध विरासत के लिए पहचाना जाता है। इसलिये तल्लीताल पोस्ट ऑफिस के ऐतिहासिक भवन को न सिर्फ बचाया जाए बल्कि इसे इसके मूल रंग रूप में ही सजाया संवारा जाय।
ज्ञापन देने वालों में राजीव लोचन साह, डा. उमा भट्ट, डा. शीला रजवार, एडवोकेट कैलाश जोशी, प्रदीप पाण्डे व दिनेश उपाध्याय आदि थे।