कई नेताओं की प्रतिष्ठा लगी है दांव पर ।

(एम.पालीवाल)

नैनीताल । नैनीताल नगर पालिकाध्यक्ष की कुर्सी में पहली बार कब्जा करने की जुगत में लगी भाजपा के समक्ष कांग्रेस प्रत्याशी डॉ. सरस्वती खेतवाल की व्यूहरचना को भेदना चुनौती बना है ।

 

इस सीट पर नैनीताल क्षेत्र के सांसद अजय भट्ट व विधायक सरिता आर्य की प्रतिष्ठा भी दांव पर है । क्योंकि भाजपा की नगर पालिकाध्यक्ष पद की प्रत्याशी जीवंती भट्ट इन नेताओं की पहली पसंद रही हैं । लेकिन पार्टी के कई मजबूत नेताओं का अपने वार्ड में वार्ड सदस्य का चुनाव लड़ने व कुछ वार्डों में दो से अधिक नेताओं के वार्ड सदस्य का चुनाव लड़ने से भाजपा पालिकाध्यक्ष पद की प्रत्याशी जीवंती भट्ट के चुनाव प्रचार में प्रमुख कार्यकर्ताओं की कमी खल रही है और कुछ चेहरे अभी चुनाव प्रचार में भी नहीं दिख रहे हैं ।
भाजपा प्रत्याशी जीवंती भट्ट के पक्ष में  माहौल बनाने में उनके पति डॉ. सुशील भट्ट द्वारा पिछले कई वर्षों से बेहद कम खर्च पर सामान्य रोगियों का चिकित्सा इलाज करना मुख्य आधार बन रहा है । उनका मल्लीताल बाजार में क्लिनिक है । इसी कारण जीवंती भट्ट के चुनावी पोस्टर में पार्टी के शीर्ष नेताओं के साथ डॉ. सुशील भट्ट की भी  फोटो छापी गई हैं । जीवंती भट्ट महिलाओं के संगठन लेकसिटी वेलफेयर क्लब की अध्यक्ष रही हैं और इस क्लब का फायदा मिलने का दावा कर रही हैं । वे महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष व कई अन्य पदों पर रही हैं ।
दूसरी ओर नैनीताल में कांग्रेस का अपना मजबूत वोट बैंक तो है ही । साथ ही पार्टी प्रत्याशी डॉ. सरस्वती खेतवाल की व्यक्तिगत छवि, उनका सामाजिक दायरा, समय समय पर तमाम लोगों की उनके द्वारा की गई मदद इस चुनाव में उनके काम आ रहा है । उनके शहर के अधिकांश लोगों के साथ व्यक्तिगत सम्बन्ध हैं । डॉ.सरस्वती खेतवाल के पक्ष में कांग्रेसजन एकजुट नजर आ रहे हैं । समाज में लगातार सक्रियता के कारण डॉ.सरस्वती खेतवाल ने दूसरे दलों में भी सेंधमारी की है ।
नगर पालिकाध्यक्ष पद का चुनाव लड़ रही उक्रांद प्रत्याशी लीला बोरा व निर्दलीय दीपा मिश्रा, संध्या शर्मा व ममता जोशी को लड़ाई में बने रहने के लिये कठिन मेहनत की जरूरत पड़ रही है ।
यहां फिलहाल नगरपालिका अध्यक्ष का चुनाव बेहद नीरस सा बना है । राजनीतिक दलों के कार्यकर्ताओं व चुनाव लड़ रहे प्रत्याशियों के समर्थकों को छोड़ अन्य मतदाताओं की चुनाव को लेकर कोई रुचि नहीं है । वार्ड सदस्य का चुनाव लड़ रहे 70 से अधिक प्रत्याशी प्रतिदिन अपने वार्ड के हर घर में जाकर मतदाताओं के दरवाजे खटखटा रहे हैं। जिससे लोगों के निजी जीवन में अनावश्यक व्यवधान हो रहा है । नैनीताल में अभी लाउडस्पीकर का शोर शराबा भी शुरू नहीं हुआ है ।
नैनीताल में इन दिनों स्कूल,कॉलेज व हाईकोर्ट में शीतावकाश चल रहा है और बड़ी संख्या में लोग शहर से बाहर हैं । नैनीताल में इन दिनों कड़ाके की सर्दी पड़ रही है । इन कारणों से नैनीताल में कम मतदान की आशंका जताई जा रही है । यहां 2018 के चुनाव में साढ़े 28 हजार से अधिक मतदाता थे । लेकिन इस चुनाव में यह संख्या करीब 3 हजार कम होकर 25600 के करीब हो गई है ।
मतदाता संख्या कम होने का नुकसान कांग्रेस को होने की संभावना है । क्योंकि इनमें से कई मतदाता मेट्रोपोल होटल परिसर, बी डी पांडे अस्पताल के निकट व बारापत्थर क्षेत्र से अतिक्रमण  हटाने से प्रभावित लोग थे। जिनके घर टूटने के बाद वे अपने मूल घरों को लौट गए थे । जिनमें कई लोग स्वार, दड़ियाल, रामपुर क्षेत्र के लोग भी थे ।
नैनीताल में पालिकाध्यक्ष पद पर भाजपा के पक्ष में चुनावी माहौल बनाने के लिये मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी कल (आज) 16 जनवरी को नैनीताल में जनसभा करने जा रहे हैं । मुख्यमंत्री की इस सभा को लेकर कार्यकर्ताओं में उत्साह देखा जा रहा है ।

By admin

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