नैनीताल । उत्तराखण्ड हाईकोर्ट को अन्यत्र शिफ्ट किये जाने को लेकर शासन स्तर पर हो रहे प्रयासों से हाईकोर्ट के अधिवक्ताओं के एक गुट में नाराजगी है तो एक गुट में खुशी का माहौल है । हाईकोर्ट अन्यत्र शिफ्ट करने का विरोध कर रहे पक्ष ने आज दूसरे दिन भी हाईकोर्ट बार सभागार में बैठक कर हाईकोर्ट शिफ्टिंग के प्रयासों की निंदा की । जबकि दूसरे पक्ष ने हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष व वरिष्ठ अधिवक्ता एम सी कांडपाल के चैंबर में मिष्ठान वितरण किया । साथ ही प्रधानमंत्री, कानून मंत्री, सुप्रीम कोर्ट के प्रधान न्यायाधीश,मुख्य न्यायधीश उत्तराखण्ड हाईकोर्ट व उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री के नाम संबोधित ज्ञापन, जिसमें नैनीताल से हाईकोर्ट गौलापार हल्द्वानी शिफ्ट करने की मांग की गई है, तैयार कर उसके समर्थन में हाईकोर्ट के अधिवक्ताओं के हस्ताक्षर कराए गए और आज पहले दिन ही इस ज्ञापन में 114 अधिवक्ताओं ने हस्ताक्षर किए ।
इधर हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष प्रभाकर जोशी ने इस संदर्भ में बताया कि हाईकोर्ट बार एसोसिएशन की 19 अक्टूबर को आम बैठक बुलाई जा रही है जिसमें इस मसले पर निर्णय लिया जाएगा ।
हाईकोर्ट शिफ्ट करने का विरोध कर रहे अधिवक्ताओं की आज दूसरे दिन भी बार एसोसिएशन सभागार में बैठक हुई । जिसमें पूर्व सांसद व बार के पूर्व अध्यक्ष डॉ0 महेंद्र पाल, एम सी पन्त, सैय्यद नदीम मून,दुर्गा मेहता, राज्य आंदोलनकारी अधिवक्ता रमन शाह, व भाजपा युवा मोर्चा के पूर्व जिला अध्यक्ष व अधिवक्ता नितिन कार्की, अधिवक्ता डी० के०जोशी (प्रदेश अध्यक्ष उत्तराखण्ड क्रान्तिदल अधिवक्ता संघ,) अधिवक्ता भुवनेश जोशी , शक्ति सिंह.टी. सी० पाण्डे , सूरज पाण्डे , के जाफरी, विश्नोई, व अन्य उपस्थित अधिवक्ताओं ने एकमत होकर बात रखी कि सरकार नैनीताल से जरूरी सुविधाओं को ठीक करने व लम्बित योजनाओं को पूरा करने की कोशिश करे, और कहा कि नैनीताल से हाईकोट की शिफ्टिंग किसी भी तरह स्वीकार नहीं है ।