हरिनगर गांवों के ग्रामीणों की बैठक ।
नैनीताल । कैंची धाम तहसील के हरिनगर गांवों के ग्रामीणों को मालिकाना हक़ व भूमि धरी अधिकार की माँग को लेकर क्षेत्र के ग्रामीणों ने शनिवार को उप जिलाधिकारी कार्यालय कैंची धाम में बैठक कर उप जिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा ।
पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार कैंची धाम तहसील क्षेत्र के हरिनगर गांवों के ग्रामीणों ने महिला उत्थान सभागार गरमपानी में एक बैठक आयोजित की गई । बैठक में वक्ताओं ने उन्हें मालिकाना हक देने तथा भूमि का भूमिधरी अधिकार देने की माँग सरकार से की गयी ।
बैठक में पूर्व दर्जा राज्यमंत्री पी सी गोरखा ने ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि ब्रिटिश सरकार ने 1950 से पूर्व रायबहादुर मुंशी हरि प्रसाद टम्टा की माँग पर पहाड़ के गरीब परिवारों को भूमि के पट्टे दिए गये थे ।जिसमें खेती बाड़ी व बागवानी की जाती रही । जिसके बाद ग्रामीणों ने इस भूमि पर पक्के मकान बनवाने व अन्य उपयोगी कार्य के लिये भूमि हस्तांतरण की माँग की जाती रही है ।शासन ने 2005 से इसे लेकर क़वायद तेज की थी । सरकार ने विनियमितकरण करने के बजाय नान जेड ए से इस भूमि को जेड ए में वर्ग चार की श्रेणी में डाल दिया जब कि ग्रामीण क्षेत्रों में इस भूमि को भूमि धरी का अधिकार देते हुए इसे श्रेणी 1 क में परिवर्तित करना था ।
इस अवसर पर मुक्तेश्वर के श्री प्रेम पथिक जी ने कहा कि सरकार हरिनगर ग्रामों की ज़मीन को मालिकाना हक़ देने के बजाय उसे बेदखल कर सकती है जो गरीब शिल्पकारों के लिए हितकारी नही है ।
वन ग्राम समिति के अध्यक्ष एस लाल ने कहा कि सरकारें ग़रीबों के हक हकूब को लेकर क़तई भी चिंतित नही हैं ।भूमिधरी का अधिकार न होने से पट्टे धारकों को किसान सम्मान निधि बैक से लोन मकान बनने के लिए ज़मीन तक नहीं मिल रही है ।
ज्ञापन देने वालों में पी सी गोरखा, एस लाल, प्रेम पथिक, ग्राम प्रधान प्रताप चंद्र, गणेश चन्द्र, सरस्वती देवी, चन्द्र प्रकाश, पीतांबर, प्रेम चंद्र सागर, हरिओम, कुलदीप कुमार, बचीराम, प्रकाश शिल्पकार, नवीन चंद्र,हीरालाल, शिवलाल, महेशराम, कैलाश आर्य, भुवनचंद्र, रमेश, मो ताहिर, ललित, सरदार मनमोहन, सुन्दर लाल, दिवान राम, जयपुरी, रामलाल, खीमानंद आदि मौजूद थे ।